विशेषता : नाम के अनुसार अचल मतलब स्थिर, राजा माधवराज के द्वारा इस मंदिर को बीच सड़क से रोड के किनारे करने के लिए हाथी, घोड़े से कई-कई बार प्रयास किया गया. परन्तु मंदिर को १ इंच भी हटा नहीं पाए. फिर राजा ने मूर्ति तोड़ने का आदेश दिया, लेकिन प्रतिमा पर कोई यंत्र कार्य नहीं किया. अंत में राजा ने मंदिर को बीच रोड पर रहने का आदेश दिया.
आज भी ग्वालियर शहर में बीच रोड पर स्थित है. जबकि प्रमुख मार्गो सड़क बहुत चौड़ी हो चुकी है.
दर्श्निथी लोगो संख्या : ५०,०००-१,००,००० लगभग
स्थान : ग्वालियर रेलवे स्टेशन से ४ किमी दुरी पर.
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